एक राजा के शयनकक्ष में मंदरीसर्पिणी नाम की जूं ने डेरा डाल रखा था। रोज रात को जब राजा जाता तो वह चुपके से बाहर निकलती और राजा का खून चूसकर फिर अपने स्थान पर जा छिपती। संयोग से एक दिन अग्निमुख नाम का एक खटमल भी राजा के शयनकक्ष में आ पहुंचा । जूं ने जब उसे देखा तो वहां से चले जाने को कहा । उसने अपने अधिकार-क्षेत्र में किसी अन्य का दखल सहन नहीं था ।...
बौद्ध-परम्परा में मार मृत्यु, कुकृत बल और प्रलोभक के रुप में जाना जाता है जिसे आधुनिक भाषा में शैतान का रुप समझा जा सकता हैं। जब यह कहा जाता है कि ‘मार’ तो वह क्लेश अथवा मृत्यु का द्योतक है। मार को नमुचि का नाम दिया गया है क्योंकि कोई भी उससे नहीं बच सकता। उसे वसवत्ती भी कहा जाता हैं क्योंकि वह हर कोई को अपने वश में करता हैं। जब भी वह...
एक पांच साल का लड़का अपने पापा के साथ दिल्ली की एक सुपरमार्केट में घूमने गया । जब शॉपिंग करते-करते वे टॉयज सेक्शन के करीब पहुंचे तो वहन मौजूद रंग-बिरंगे खिलौनों को देखकर उसका जी मचल गया । “पापा-पापा… मुझे ये कार लेना है…प्लीज न पापा”, लड़के ने पापा का हाथ खींचते हुए कहा । पापा अपने बेटे को बहुत मानते थे और उसकी ये रिक्वेस्ट ठुकरा नहीं पाए । “ठीक...
गौतम बुद्ध के पिता सुद्धोदन थे। उनकी माता का नाम कच्चाना था । सुद्धोदन के चार सहोदर भाई द्योतदन, सक्कोदन, सुक्कोदन तथा अमितोदन थे । उनकी दो बहनें थी- अमिता और पमिता। सुद्धोदन को जैसे ही बुद्ध की सम्बोधि प्राप्ति की सूचना मिली और उनके गौरव पता चला तो उन्होंने तत्काल सिपाहियों के साथ एक दूत बुद्ध को बुलाने के लिए भेजा। किन्तु उनके सारे अनुचर वापिस न...
सत्ताधारी एक नेता जी के आवास पर जनता की भीड़ लगी थी | उसी भीड़ में एक युवती भी कोने में दुबकी हुई बैठी हुई थी वह हिम्मत नहीं कर पा रही थी की किस प्रकार नेता जी तक पहुंचे | जब नेता जी कहीं बाहर जाने के लिए कुर्सी से उठे, उनकी नजर उस युवती पर पड़ी वह स्वयं ही भीड़ को चीरते हुए उस लड़की के पास गए, उससे आने का कारण पूछा, युवती बोली “पति नहीं रहे परिवार की...
जुबैदा ने खलीफा के सामने सर झुका कर निवेदन किया है राजाधिराज, मेरी कहानी बड़ी ही विचित्र है, आपने इस प्रकार की कोई कहानी नहीं सुनी होगी। मैं और वे दोनों काली कुतियाँ तीनों सगी बहिनें हैं और यह दो स्त्रियाँ जो मेरे साथ बैठी हैं मेरी सौतेली बहनें हैं। जिस स्त्री के कंधों पर काले निशान हैं उसका नाम अमीना है, जो अन्य स्त्री मेरे साथ है उसका नाम साफी...
एक तालाब में दो मछ़लियाँ रहती थीं । एक थी शतबुद्धि (सौ बुद्धियों वाली), दूसरी थी सहस्त्रबुद्धि (हजार बुद्धियों वाली) । उसी तालाब में एक मेंढक भी रहता था । उसका नाम था एकबुद्धि । उसके पास एक ही बुद्धि थी । इसलिये उसे बुद्धि पर अभिमान नहीं था । शतबुद्धि और सहस्त्रबुद्धि को अपनी चतुराई पर बड़ा अभिमान था। एक दिन सन्ध्या समय तीनों तालाब के किनारे बात...
सबसे कीमती चीज एक जाने-माने स्पीकर ने हाथ में पांच सौ का नोट लहराते हुए अपनी सेमीनार शुरू की । हाल में बैठे सैकड़ों लोगों से उसने पूछा ,” ये पांच सौ का नोट कौन लेना चाहता है?” हाथ उठना शुरू हो गए । सबसे कीमती चीज फिर उसने कहा ,” मैं इस नोट को आपमें से किसी एक को दूंगा पर उससे पहले मुझे ये कर लेने दीजिये ।” और उसने नोट को अपनी मुट्ठी में चिमोड़ना...
लोहे की दुकान में अपने पिता के साथ काम कर रहे एक बालक ने अचानक ही अपने पिता से पुछा – “पिताजी इस दुनिया में मनुष्य की क्या कीमत होती है ?” पिताजी एक छोटे से बच्चे से ऐसा गंभीर सवाल सुन कर हैरान रह गये. फिर वे बोले “बेटे एक मनुष्य की कीमत आंकना बहुत मुश्किल है, वो तो अनमोल है.” बालक – क्या सभी उतना ही कीमती और महत्त्वपूर्ण हैं ? पिताजी – हाँ बेटे...
सिर राखे सिर जात है, सिर कटाये सिर होये जैसे बाती दीप की कटि उजियारा होये। सिर अंहकार का प्रतीक है । सिर बचाने से सिर चला जाता है-परमात्मा दूर हो जाता हैं। सिर कटाने से सिर हो जाता है। प्रभु मिल जाते हैं जैसे दीपक की बत्ती का सिर काटने से प्रकाश बढ़ जाता है। Sir rakhai sir jat hai,sir katai sir hoye Jaise bati deep ki,kati ujiara hoye. If you save...
एक बार बीरबल को शहर के लोगों ने आकर एक लालची बर्तनों के दूकानदार के बारे में शिकायत की कि वह बहुत लालची है। उसे सबक सिखाओ। यह सुनकर बीरबल दुकानदार के पास गए और वहां से तीन बड़े-बड़े पतीले खरीद लाए। कुछ दिन के बाद वह एक बहुत छोटी-सी पतीली लेकर लालची दुकानदार के पास पहुंचे और बोले, “यह आपके बड़े पतीले ने बच्चा दिया, कृपया इसे रख लें। ” दूकानदार बहुत...
एक बार की बात है कि एक बाज का अंडा मुर्गी के अण्डों के बीच आ गया । कुछ दिनों बाद उन अण्डों में से चूजे निकले, बाज का बच्चा भी उनमे से एक था । वो उन्ही के बीच बड़ा होने लगा । वो वही करता जो बाकी चूजे करते, मिटटी में इधर-उधर खेलता, दाना चुगता और दिन भर उन्हीकी तरह चूँ-चूँ करता । बाकी चूजों की तरह वो भी बस थोडा सा ही ऊपर उड़ पाता , और पंख फड़-फडाते...
किसी नदी के तटवर्ती वन में एक सियार अपनी पत्नी के साथ रहता था। एक दिन उसकी पत्नी ने रोहित (लोहित/रोहू) मछली खाने की इच्छा व्यक्त की । सियार उससे बहुत प्यार करता था । अपनी पत्नी को उसी दिन रोहित मछली खिलाने का वायदा कर, सियार नदी के तीर पर उचित अवसर की तलाश में टहलने लगा। थोड़ी देर में सियार ने अनुतीरचारी और गंभीरचारी नाम के दो ऊदबिलाव मछलियों के...
एक किसान था । वह एक बड़े से खेत में खेती किया करता था । उस खेत के बीचो-बीच पत्थर का एक हिस्सा ज़मीन से ऊपर निकला हुआ था जिससे ठोकर खाकर वह कई बार गिर चुका था और ना जाने कितनी ही बार उससे टकराकर खेती के औजार भी टूट चुके थे । रोजाना की तरह आज भी वह सुबह-सुबह खेती करने पहुंचा पर जो सालों से होता आ रहा था एक वही हुआ , एक बार फिर किसान का हल पत्थर से...
भगत सिंह और बुटकेश्वर दत्त की ओर से जेल से भेजा गया यह पत्र 19अक्तूबर, 1929 को पंजाब छात्र संघ, लाहौर के दूसरे अधिवेशन में पढ़कर सुनाया गया था। अधिवेशन के सभापित थे सुभाषचंद्र बोस।- सं. इस समय हम नौजवानों से यह नहीं कह सकते कि वे बम और पिस्तौल उठाएँ। आज विद्यार्थियों के सामने इससे भी अधिक महत्वपूर्ण काम है। आनेवाले लाहौर अधिवेशन में कांग्रे़स देश...
किसी घने वन में एक बहुत बड़ा शेर रहता था। वह रोज शिकार पर निकलता और एक ही नहीं, दो नहीं कई-कई जानवरों का काम तमाम देता। जंगल के जानवर डरने लगे कि अगर शेर इसी तरह शिकार करता रहा तो एक दिन ऐसा आयेगा कि जंगल में कोई भी जानवर नहीं बचेगा। सारे जंगल में सनसनी फैल गई। शेर को रोकने के लिये कोई न कोई उपाय करना ज़रूरी था। एक दिन जंगल के सारे जानवर इकट्ठा...
एक दस वर्षीय लड़का रोज अपने पिता के साथ पास की पहाड़ी पर सैर को जाता था। एक दिन लड़के ने कहा, “पिताजी चलिए आज हम दौड़ लगाते हैं, जो पहले चोटी पे लगी उस झंडी को छू लेगा वो रेस जीत जाएगा!” पिताजी तैयार हो गए। दूरी काफी थी, दोनों ने धीरे-धीरे दौड़ना शुरू किया। कुछ देर दौड़ने के बाद पिताजी अचानक ही रुक गए। “क्या हुआ पापा, आप अचानक रुक क्यों गए, आपने अभी से...
उस ने कहा कि दोस्तो, मेरा पिता बगदाद का रहनेवाला था और खलीफा हारूँ रशीद के जमाने में था। मैं भी उसी समय पैदा हुआ। मेरा पिता यद्यपि धनवान तथा बड़े व्यापारियों में गिना जाता था तथापि वह बहुत ही विलासी और व्यसनी था। इसीलिए व्यापार की ठीक तरह देख-भाल नहीं कर पाता था और उसमें काफी गड़बड़ होती थी। जब वह मरा तो मुझे मालूम हुआ कि न जाने कितने लोगों से उस...
ईसाई और इस्लाम परम्पराओं की तरह बोद्धों में भी शैतान-तुल्य एक धारणा है, जिसे मार की संज्ञा दी गयी है; क्यों के ईसाई धर्म 33AD के वाद बना और इस्लाम धर्म 610AD के वाद ये कन्सेप्ट इंडिया की 450BC के बुद्धिस्ट दर्शन का अपभ्रंस सोच हो सकता है । मार को ‘नमुचि’ के नाम से भी जाना जाता है क्योंकि “नमुचीति मारो”, अर्थात् जिससे कोई...
योगी राजा को और मुर्दे को देखकर बहुत प्रसन्न हुआ। बोला, “हे राजन्! तुमने यह कठिन काम करके मेरे साथ बड़ा उपकार किया है। तुम सचमुच सारे राजाओं में श्रेष्ठ हो।” इतना कहकर उसने मुर्दे को उसके कंधे से उतार लिया और उसे स्नान कराकर फूलों की मालाओं से सजाकर रख दिया। फिर मंत्र-बल से बेताल का आवाहन करके उसकी पूजा की। पूजा के बाद उसने राजा से...