आपने बीरबल के बहुत से किस्से पड़े होंगे, लेकिन एक भी किस्सा ऐसा नही पड़ा होगा जिसमे बीरबल ने कभी मात खाई हो. क्योंकि बीरबल से चतुर और चालक व्यक्तित्व शायद ही कभी हुआ हो. बीरबल की बदसूरती पर राज्य सभा के सभी मंत्री मजाक बना रहे थे तभी चतुर बीरबल कुछ ऐसा कहते है, जिसे सुनकर सभी दरबारी अपना सर शर्म से निचे कर के बैठ जाते हैं.
चलिए आगे पूरी कहानी पड़ते हैं. एक दिन दरबार में आदमीयों की सुंदरता के विषय में बादशाह ने चर्चा छेड दी, सारे दरबारीयों को बीरबल को नीचा दिखाने का अवसर मिल गया क्योंकि बीरबल का रंग सांवला था. उस वक्त बीरबल वहां नहीं थे, थोडी देर बाद बीरबल जब वहां आये तो सब लोग उन्हें देखकर हंसने लगे, बीरबल ने कहा- महाराज आज तो सारा दरबार बेहद खुश दिखाई दे रहा है. उस पर अकबर ने कहा – तुम्हारी बदसूरती को देखकर लोग हंसते है, सब लोग गोरे हैं तुम काले क्यों हो ?
बीरबल बोले – क्या आपको इसकी वजह नहीं मालूम ? नहीं! क्या हैं इसकी वजह बताओं. अकबर ने कहा. बीरबल बोले- जहांपनाह ईस्वर के दरबार में एक जगह खुबसूरती और दूसरी जगह अक्ल बंट रहीं थी, बस अक्ल लेने के चक्कर में मैं खुबसूरती न ले सका और जिन्होंने खुबसूरती ली उन्हें अक्ल नहीं मिली. वाह! वाह! बीरबल क्या तूरूप मारी है। बादशाह बेहद खुश हुए जबकि बीरबल का मजाक उडाने वालों के सिर एक बार फिर शर्म से झुक गये ।